देहरादून: यूक्रेन के हालत कुछ भी ठीक नजर नहीं आ रहे हैं। मेट्रो स्टेशनों व फ्लैटों में दुबके छात्र अपनों से वीडियो काल से बात कर बम धमाकों की आवाजें सुना रहे हैं। इससे छात्रों के परिजन भी भयभीत हैं। यूक्रेन के विभिन्न शहरों में भारी गोलाबारी के बीच कोटद्वार और लैंसडौन के छात्र फंसे हुए हैं। कोटद्वार के पदमपुर सुखरो प्रमोद कालोनी निवासी व्यापारी विजय शर्मा की बेटी शिवानी शर्मा 2018 से यूक्रेन के खार्कीव नेशनल यूनिवर्सिटी में एमबीबीएस का कोर्स कर रही है। वह एमबीबीएस चौथे वर्ष की छात्रा है। अपने परिजनों को वीडियो कॉल में उसने बताया कि वह जीवन बचाने के लिए खार्कीव शहर के एक मैट्रो स्टेशन में कई छात्रों के साथ है। बाहर चल रही गोली और बम के धमाकों से सब सहमे हुए हैं। खौफ के साए में वे न तो खाना ही ठीक से खा पा रहे हैं और न ही नींद आ रही है। जौनपुर निवासी अधिवक्ता किशन पंवार का पुत्र अनुराग पंवार वर्ष से 2019 में एरो नोटिकल इंजीनियरिंग करने के लिए यूक्रेन गया है। वह भी खार्कीव शहर में फंसा हुआ है। उनकी बेटी पायल पंवार एमबीबीएस की पांचवें वर्ष की छात्रा है। वह रोमानिया बॉर्डर पर फंसी हुई है। दोनों बच्चों के युद्ध भूमि में फंसे होने के कारण परिजनों को अपने बच्चों की चिंता सता रही है।बेस अस्पताल कोटद्वार में फर्मासिस्ट के पद पर कार्यरत गिरीश रतूड़ी की पुत्री स्वाति रतूड़ी, द्वारिका कालोनी शिब्बूनगर निवासी सोमदत्त नैथानी की पुत्री आंचल नैथानी और भीम सिंह पुर कलालघाटी निवासी अनिल बलूनी के पुत्र शशांक बलूनी यूक्रेन के विनित्सा में एमबीबीएस के चौथे वर्ष के छात्र हैं। ये सभी अपने फ्लैट में फंसे हुए हैं, फ्लैट के ऊपर से उड़ रहे लड़ाकू विमान से सब बेचैन हैं।
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